रायपुर। बलौदाबाजार की घटना को लेकर सियासी वार-पलटवार जारी है. भूपेश बघेल के आरोपों पर विधायक राजेश मूणत ने पलटवार करते हुए कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री हैं, बोलने से पहले तथ्य जान लें. क्या प्रदेश को अशांत करना कांग्रेस की मानसिकता है. यही पूर्व मुख्यमंत्री बोलते थे कि झीरम के दस्तावेज मेरे जेब में हैं. पांच साल सरकार में रहने के बाद झीरम के दस्तावेज नहीं निकल पाए.
विधायक राजेश मूणत ने पूर्व मुख्यमंत्री के बयान पर आपत्ति जताते हुए कहा कि वोट की राजनीति, जाति-दलों में बांटकर राजनीति करना, क्या कांग्रेस की सोच है. हमेशा कांग्रेस पार्टी न्यूसेंस वाले पक्ष में क्यों खड़ी होती है. अगर ED वाले भ्रष्टाचारियों को पकड़ते हैं, तो कांग्रेस उनके पक्ष में खड़े हो जाती है. कांग्रेसी क्या योजनाबद्ध तरीके से अशांति फैलाना चाहती है. यह पूर्व मुख्यमंत्री को सोचना चाहिए.
वहीं बिजली बिल मामले में कांग्रेस के प्रदर्शन को लेकर राजेश मूणत ने कहा कि पांच साल में जनता ने निपटा दिया, अब आराम करो. साय मंत्रिमंडल में मंत्रियों की नियुक्ति को लेकर राजेश मूणत ने कहा कि मंत्री पार्टी का कार्यकर्ता ही बनेगा. चिंतामुक्त रहो. वहीं मंत्रियों की नियुक्ति के बाद भाजपा में घमासान मचने वाले कांग्रेस के बयान पर मूणत ने कहा कि कांग्रेस पहला अपना घर देखे, जिस घर के अंदर छप्पन टुकड़े हुए हैं. अपने गिरेबान में झांको, फिर दूसरे के घर में.
शारदा चौक चौड़ीकरण मामले में राजेश मूणत ने कहा कि फोटो छपाते-छपाते सरकार चली गई, महापौर भी जाते-जाते फोटो छपाते चले जाएंगे. 4 करोड़ देकर 139 करोड़ का सर्वे किया. मैने पहले आरोप लगाया था कांग्रेस के कार्यकाल में एक काम रायपुर में नहीं है. कांग्रेस ने केवल भूमिपूजन किया है, कोई काम धरातल नहीं, कोई पर प्लानिंग नहीं. तात्यापारा चाैड़ीकरण के नाम पर 4 करोड़ का प्रावधान किया, लेकिन कहां कितना मुआवजा किस मद से मिलेगा तय नहीं किया.